प्रश्न विवरण
कुछ ईसाई कहते हैं कि इस्लाम एक औपचारिक धर्म है, जिसमें नमाज़ के रुकू और सजदे जैसे बाहरी क्रियाएँ ही महत्वपूर्ण हैं, और यदि ये क्रियाएँ नहीं की जातीं तो पूजा भी नहीं होती, जबकि ईसाई धर्म में बाहरी क्रियाएँ नहीं, बल्कि हृदय में प्रेम महत्वपूर्ण है। क्या आप इस विषय पर प्रकाश डाल सकते हैं?
उत्तर
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सलाम और दुआ के साथ…
इस्लाम धर्म के बारे में प्रश्नोत्तर